बचें वायरल फीवर से


- रंजीत कुमार ‘सौरभ’ -

(मीडिया एंटरटेनमेंट फीचर्स)

फ्लू, इंफ्लूएंजा, कॉमन कोल्ड या साधारण जुकाम का बुखार, एक प्रकार का वायरल बुखार होता है। यह बीमारी एक रोगी से दूसरे स्वस्थ व्यक्ति में सांस के जरिये पहुंचती है यानी जब रोगी खांसता है तो उसका विषाणु नजदीक मौजूद स्वस्थ व्यक्ति के शरीर में सांस के जरिये प्रवेश करता है और इस तरह वह स्वस्थ व्यक्ति भी एक-दो दिन में वायरल बुखार से ग्रसित हो जाता है।

वायरल बुखार के लक्षण

वायरल बुखार के लक्षण अन्य बुखार के जैसे ही होते हैं। जैसे मरीज को सिर में दर्द, बदन में दर्द के साथ अचानक बुखार आना, गले में खराश, नाक में खुजली और पानी गिरना आम लक्षण हैं। इस बुखार में बदन का तापमान 101 से 103 डिग्री फॉरेनहाइट या इससे भी अधिक हो जाता है और शरीर में बेचैनी अनुभव होती है तथा भूख नहीं लगती।

डॉक्टरों का मानना है कि यह बुखार एक संक्रामक विषाणु से फैलता है। यह विषाणु स्वस्थ व्यक्ति के शरीर में भी आसानी से प्रवेश कर जाता है और इसके एक या दो दिन बाद ही व्यक्ति वायरल बुखार की चपेट में आ जाता है तथा उसमें इस बुखार के लक्षण स्पष्ट दिखाई देने लगते हैं। इसके अलावा सुपर एडेड बैक्टीरियल इंफैक्शन रोगी के कान में साइनस और फेफड़ों को प्रभावित करता है।

वायरल फीवर ठंडे वातावरण के सम्पर्क में आने, फ्रिज का ठंडा पानी पीने, सॉफ्ट ड्रिंक्स पीने, आइसक्रीम खाने से गले में खराश से शुरू होता है और फिर इम्यून सिस्टम को कुछ समय के लिए बुरी तरह से प्रभावित करता है।

परहेज / बचाव

- यदि वायरल फीवर से परिवार के सदस्य या आसपास के लोग पीड़ित हों तो ऐसे स्थानों पर मुंह व नाक पर रूमाल रखकर जाएं। इससे विषाणु से बचाव होगा।

- गले में सूजन हो तो ऐसी हालत में अचार, चटनी, नींबू, मिर्च, तली-भुनी चीजों, ठंडा पानी व आइसक्रीम का सेवन न करें।

- अधिकाधिक मात्रा में तरल पदार्थ व हॉट ड्रिंक्स का सेवन करें।

- शराब का सेवन हरगिज न करें। धूम्रपान भी न करें।

- नोजल ड्रॉप्स का इस्तेमाल न करें।

- ऐसे वातावरण से बचें, जहां तापमान अचानक बदलता हो।

उपचार / देखभाल

- डॉक्टर वायरल इंफैक्शन में सिर्फ दर्द की दवा आराम के लिए देते हैं।

- बैक्टीरियल इंफैक्शन से बचाव हो, इसके लिए रोगी को एंटीबायोटिक दवाएं दी जाती हैं।

- यदि बुखार और खांसी लगातार बढ़ नहीं रही हों तो एंटीबायोटिक्स की कोई विशेष आवश्यकता नहीं होती।

- कुछ घरेलू नुस्खे भी आजमा सकते हैं, जैसे:- गर्म चाय, गर्म सूप, तुलसी की चाय या अदरक की चाय का सेवन कर सकते हैं। इसके अलावा हल्के गर्म पानी में शहद मिलाकर आराम से धीरे-धीरे पीते रहें। इससे गले की खराश कम होगी।

- वायरल बुखार में सिरदर्द व बदन दर्द से राहत पाने के लिए आपको कुछ समय तक एंटी पायरेटिक एनालजेसिक ड्रग ‘पैरासिटामोल’ का सेवन करना चाहिए।

- एंटीबायोटिक दवाएं तभी लें, जब सुपर एडेड बैक्टीरियल इंफैक्शन की स्थिति हो।

- एंटीबायोटिक दवाओं का सेवन किसी योग्य और जानकार डॉक्टर की सलाह पर ही किया जाना चाहिए।

- नमक युक्त पानी से गरारे करने से भी बहुत आराम मिलता है।

- पीड़ित व्यक्ति को ठंडे एवं हवादार स्थान पर रखें। उनके कपड़े भी हल्के व सूती हों।

- रोगी को ताजे फल-सब्जी तथा दूध से बना पौष्टिक एवं सुपाच्य भोजन करना चाहिए।

- रोगी द्वारा अत्यधिक मात्रा में जल का सेवन किया जाना बहुत फायदेमंद रहता है। (मीडिया एंटरटेनमेंट फीचर्स)

(लेखक देश की तीन प्रतिष्ठित फीचर एजेंसियों के समूह ‘मीडिया केयर ग्रुप’ से जुड़े हैं)

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